मुज़फ़्फ़रपुर : एम्स के रंग में रंगा एसकेएमसीएच

व्यंग / मनोज सौन्दर्य ! किसे नापसंद है। औरत – मर्द ! मंदिर – मस्जिद ! अस्पताल या दफ्तर ! सभी इसके लामबंद है । तभी तो सब लगे हैं। जोर – शोर से ! बदलाव की होड़ में ! कम या ज्यादा ! सजाव सभी को पसंद है। यह प्रकृति का नियम भी है।

मुजफ्फरपुर : अघोरिया बाजार में जनता से ‘घोर’ अन्याय

प्रकाश सिन्हा अब आप कहेंगे कि अघोरिया बाजार में जनता से घोर अन्याय क्या हो गया. तो भइया सुन लीजिए. कोई अपने बच्चे का जन्मदिन मनाने जा रहा हो. कोई शादी की सालगिरह. कोई अपने घर में मां के लिए दवाई, लेकिन वो अघोरिया बाजार से होकर गुजरेगा, तो उसे जाम के झाम में फंसला

मुजफ्फरपुर : कीजिए फर्जी हस्ताक्षर, लीजिए पूरे महीने का वेतन !

प्रकाश सिन्हा ..नाम गुम जाएगा. चेहरा ये बदल जाएगा. मेरी आवाज ही पहचान है. जी हां. चौकिए मत. यहां आवाज पहचान नहीं है. यहां फर्जी हस्ताक्षर से किया गया सत्यापन ही पहचान है. उसका पावर ऐसा है कि जनता की गाढ़ी कमाई और टैक्स का पैसा आप अपने वेतन के रूप में उठा सकते हैं.

मुज़फ़्फ़रपुर : चर्च रोड का नाला निकला बदमाश, कहा- पानी नहीं निकलने दूंगा !

प्रकाश सिन्हा अब भला आप कहिएगा कि भला नाला कैसे बदमाश हो गया. तो हम आपको बताते हैं, भ्रष्टाचार का सीमेंट और घोटाले का बालू मिलाकर शहर में कोई भी निर्माण होगा, तो नाला बोलने लगेगा कि नहीं. अब आप चर्च रोड में चालीस लाख की लागत से बने आरसीडी से बनाए नाले को देखिए.

मुज़फ़्फ़रपुर शहर को मिला 1000 टन कचरा गिफ्ट, सफाई व्यवस्था गई तेल लेने !

प्रकाश सिन्हा क्या तुझे पता है ये गुलशन मेरे शहर में गंदगी बजबजा रही है. नहीं गुलशन को कैसे पता होगा. गुलशन तो गुलिस्तां में व्यस्त है. उसके लिए आपको शहर में भ्रमण करना होगा. उसके बाद नजारा देखना होगा. एक तरफ फर्जी हाजिरी बनाकर सफाई कार्य में घोटाला हो रहा है. वहीं दूसरी ओर

मुज़फ़्फ़रपुर मे मुख्यमंत्री के नाम वाला शिलापट्ट हाय टूट गया !

चौचक चर्चा ! मुजफ्फरपुर शहर में एक घटना की चौचक चर्चा जोरों पर है. हो भी क्यों ना. घटना प्रदेश के सुशासन बाबू से जो जुड़ी हुई है. हुआ है ऐसा कि शहर के महाराजी पोखर में लगा सीएम नीतीश कुमार का शिलापट्ट टूटकर गिर गया है कि तोड़ दिया गया है. इसे लेकर लोगों

मुजफ्फरपुर में ‘जिले के मालिक’ की कोई नहीं सुनता !

चौचक चर्चा ! बोलेंगे तो कहिएगा कि बोलता है. ई हम नहीं बोल रहे हैं. जिले के मालिक की बात-बात पर होने वाली बैठक बता रही है कि बाबू उनकी नहीं सुनते हैं. भला कोरोना काल में महामारी को लेकर लापरवाही कैसे जारी रह सकती है. जिले के मालिक ने बाहर से मुजफ्फरपुर आने वाले

तुला राशि वाले इन वस्तुओं का करे दान, रोजगार की समस्याओं से मिलेगी मुक्ति

आजीविका : तुला राशि वालों के लिए आज के दिन व्यापार में अच्छे परिणाम प्राप्त होंगे, जिससे मन प्रसन्न होगा। व्यापारिक साख बढ़ेगी और इसी साख को ध्यान में रखते हुए बड़ा ऑर्डर प्राप्त हो सकता है। चमक-धमक एवं टेक्नोलॉजी या मोबाइल के क्षेत्र में अच्छा कारोबार होगा। कार्यक्षेत्र में कुछ परेशानियों के बाद भी

मुजफ्फरपुर : पंचायत चुनाव में शराब के सौदागरों की इंट्री

चौचक चर्चा ! गजब भयो रामा.. जुलुम भयो रे. कुछ ऐसा ही लग रहा है इस बार के बिहार पंचायत चुनाव में. जहां ताल ठोकने के लिए शराब माफिया और शराब के सौदागर तैयार हैं. चुनावी लंगोटी कस चुकी है. मैदान में शराब माफिया ताल ठोक रहे हैं. आपके समाज का पांच साल का भविष्य

मुजफ्फरपुर रेलवे स्टेशन भगवान भरोसे !

चौचक चर्चा अब आप सोचिएगा कैसे. तो भईया हम आपको क्या बताएं, इन दिनों मुजफ्फरपुर रेलवे स्टेशन पर सबकुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है. रेलवे की सरकारी नौकरी वाले कर्मचारी अपनी ठसक में रहते हैं, इसलिए स्टेशन का डेकोरम कोई भी बिगाड़कर चला जाता है. देखिए ना अभी 12 घंटे पहले की तो बात है.

मुज़फ़्फ़रपुर की ट्रैफिक समस्या पर ‘टुनटुन’ फैसला, ले लोट्टा। चौचक चर्चा

शहर की ट्रैफिक समस्या पर ‘टुनटुन’ फैसला ले लोट्टा। ई का. शहर के जो लोग ट्रैफिक नियम नहीं मानते. जहां-तहां गाड़ी खड़ी करते देते हैं. वहीं आजकरल सर्वे में बोल रहे हैं कि पार्किंग नहीं होने से जाम लग रहा है और शहर में अतिक्रमण बढ़ गया है. तिलक मैदान हो या मोतीझील, मुख्य बाजार

तैयार रहिए, कोरोना का सेकेंड डोज लेने के लिए !

चौचक चर्चा ! कोरोना की दूसरी लहर के बाद शहर के लोगों को लग रहा है कि अब तीसरी लहर की बात झूठी है. लेकिन ऐसा नहीं है. चौचक चचा का कहना है कि महाराष्ट्र और मध्यप्रदेश में केस बढ़ रहे हैं. इसलिए सावधान रहिएगा. क्योंकि तीसरी लहर दूसरी से भी ज्यादा खतरनाक है और

मुज़फ़्फ़रपुर में दिखा लाखो रूपये की खुटी से बंधी बकरी

चौचक चर्चा ! लेखक- खबरी जार्ज खान मुजफ्फरपुर के सदर थाना परिसर में लाखों रुपये के वाहन से बंधी इस बकरी को कोई आम बकरी समझने की भूल मत कीजिएगा. बकरी की कीमत भले कम हो, लेकिन वो लाख रुपये से ज्यादा के खूंटे में बंधी हुई है. ये नजारा है, सदर थाना परिसर का

मुजफ्फरपुर में जब्त की गई गाड़िया बनी कबाड़

चौचक चर्चा ! लेखक- खबरी जार्ज खान मुजफ्फरपुर में लगने वाले रोजाना गाड़ियों के जाम के झाम को समझने के लिए शहर के सदर थाने पर निगाह डालना जरूरी है. उससे भी जरूरी है जिले के सभी थानों में जब्त किए गए वाहनों की 15 सालों से नहीं हुई निलामी की. आपको जानकर आश्चर्य होगा

मुजफ्फरपुर जिले में मुखिया का चुनाव लड़ने वालों के लिए जरूरी खबर !

बिहार में पंचायत चुनाव की अधिसूचना जारी हो चुकी है. खासकर इस बार मुखिया का चुनाव लड़ने वाले भावी उम्मीदवारों के लिए अच्छी खबर है. उम्मीदवारों का निर्वाचन क्षेत्र सीमा कहां तक रहेगी. इसे लेकर एक विशेष सूचना जारी की गई है. इस सूचना से सभी जिलों के निर्वाची अधिकारी भी अवगत हो गए हैं.