जम्मू-कश्मीर जेल में बंद आ’तंकी और प’त्थरबाज लाए जाएंगे बिहार….

जम्मू-कश्मीर की जेल में बंद आतंकी और पत्थरबाजों को सूबे की सबसे सुरक्षित भागलपुर की जेल में शिफ्ट कराने की तैयारी चल रही है। ऐसे खूंखार बंदियों की संख्या दो दर्जन बताई जा रही है जिन्हें जम्मू कश्मीर की जेलों से विशेष केंद्रीय कारा के अति सुरक्षित टी-सेल में रखने पर मंथन किया जा रहा है। जेल सूत्रों की माने तो उन्हें कड़ी सुरक्षा के बीच अन्य बंदियों से अलग रखा जाएगा जाएगा। पहले से सख्त सुरक्षा वाले इस जेल में वहां से खूंखार बंदियों के लाए जाने की संभावना को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था और चाक-चौबंद कराने की अंदर ही अंदर तैयारी शुरू कर दी गई है। जम्मू-कश्मीर से आने वाले बंदियों के आगमन पूर्व केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल(सीआरपीएफ) की एक टुकड़ी की तैनाती की जाएगी जो उन खूंखार बंदियों की निगरानी करेगी।

कश्मीर : पत्थरबाजी के लिए उकसाने वाले 112 अलगाववादियों के 210 बच्चे विदेश  में सेटल - 210 children of 112 leaders who are motivating to stone school  children settled abroadबताया जा रहा है कि जम्मू-कश्मीर में चुनाव के मद्देनजर केंद्र सरकार ने यह कदम उठाया है। जम्मू-कश्मीर में स्थानीय निकाय चुनाव के होने की उम्मीद है। चुनाव में आतंकी और उन आतंकियों के समर्थन में पत्थरबाजी और उपद्रव करने वाले पत्थरबाज खलल पैदा करने की कोशिश करते रहे हैं। जेल में बंद होने के बावजूद ये बाहर घाटी समेत अन्य इलाके में सक्रिय अन्य आतंकियों और पत्थरबाजों के संपर्क में रहते हैं। प्रदेश में चुनाव शांतिपूर्ण संपन्न हो सकें, इसलिए ऐसे बंदियों को अन्य प्रदेश की जेलों में भेजने की कवायद शुरू है। चुनाव सम्पन्न होने के बाद फिर से कैदी जम्मू-कश्मीर की जेल में शिफ्ट करा दिये जाएंगे।

जम्मू-कश्मीर से यहां लाए जाने वाले बंदियों को यहां के बंदियों से न सिर्फ अलग रखा जाएगा बल्कि उन्हें किसी से बात तक करने की छूट नहीं रहेगी। उन्हें अति सुरक्षित सेल में बंद रखा जाएगा। सुरक्षा के पुख्‍ता इंतजाम किए गए हैं। भागलपुर की भी सुरक्षा बढ़ा दी गई है। आतंकवादियों के आने की सूचना से लोगों में दहशत है।