कब है विजयादशमी? इस साल बन रहे 2 शुभ योग, जानें दशहरा शस्त्र पूजा मुहूर्त और दुर्गा विसर्जन समय

विजयादशमी का त्योहार आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है. विजयादशमी को दशहरा भी कहा जाता है. इस दिन मां दुर्गा की मूर्तियों का विसर्जन करते हैं. दशहरा की शस्त्र पूजा की जाती है. विजयादशमी का दिन बुराई पर अच्छाई, असत्य पर सत्य और अधर्म पर धर्म की जीत का प्रतीक है. यह दिन स्त्री के सर्वशक्तिमान स्वरूप मां दुर्गा के अदम्य साहस और असीम शक्तियों का भी प्रतीक है. इस दिन मां दुर्गा ने महिषासुर का वध कर तीनों लोकों की रक्षा की थी. इस साल विजयादशमी के​ दिन दो शुभ योग बन रहे हैं. तिरुपति के ज्योतिषाचार्य डॉ. कृष्ण कुमार भार्गव ने बताया कि विजयादशमी किस तारीख को है? दशहरा शस्त्र पूजा का मुहूर्त क्या है और विजयादशमी पर दुर्गा विसर्जन कब होगा?

दशहरा या विजयदशमी : किस विजय का प्रतीक है -विजयादशमी 2023 किस तारीख को है?
वैदिक पंचांग के अनुसार, इस साल आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि 23 अक्टूबर दिन सोमवार को शाम 06 बजकर 44 मिनट से शुरू होगी और यह तिथि 24 अक्टूबर दिन मंगलवार को दोपहर 03 बजकर 14 मिनट तक मान्य रहेगी. ऐसे में उदयातिथि के विचार से विजयादशमी का त्योहार 24 अक्टूबर को मनाया जाएगा. इस दिन दशहरा शस्त्र पूजा भी होगी.

2 शुभ योग में है विजयादशमी 2023
इस वर्ष विजयादशमी के दिन दो शुभ योग रवि योग और वृद्धि योग बन रहे हैं. वृद्धि योग 24 अक्टूबर को दोपहर 03:40 पी एम से शुरू होगा, उससे पूर्व गंड योग होगा. उस दिन रवि योग सुबह 06:27 ए एम से लेकर दोपहर 03:28 पी एम तक है. उसके बाद शाम को 06:38 पी एम से अगले दिन 25 अक्टूबर को सुबह 06:28 ए एम तक है. विजयादशमी पर धनिष्ठा नक्षत्र सुबह से दोपहर 03:28 पी एम तक है, उसके बाद से शतभिषा नक्षत्र है.

विजयादशमी 2023 पूजा मुहूर्त
विजयादशमी की पूजा का शुभ मुहूर्त सवा दो घंटे का है. उस दिन आप दोपहर 01:13 पी एम से दोपहर 03:28 पी एम के बीच पूजा कर सकते हैं.

विजयादशमी 2023 पर दशहरा शस्त्र पूजा मुहूर्त
विजयादशमी वाले दिन दशहरा शस्त्र पूजा का शुभ मुहूर्त दोपहर में 01:58 पी एम से दोपहर 02:43 पी एम तक है. दशहरा की शस्त्र पूजा हर साल विजय मुहूर्त में की जाती है.

विजयादशमी 2023 पर दुर्गा विसर्जन का समय
इस साल विजयादशमी पर दुर्गा विसर्जन का समय सुबह में 02 घंटे 15 मिनट तक है. 24 अक्टूबर दिन मंगलवार को दुर्गा विसर्जन सुबह 06:27 ए एम से सुबह 08:42 ए एम के बीच करना चाहिए. हालांकि धार्मिक मान्यता है कि बेटी विदाई मंगलवार के दिन नहीं करते हैं. ऐसे में जो लोग ये मान्यता रखते हैं, वे अगले दिन विजर्सन कर सकते हैं.

विजयादशमी का महत्व क्या है?
पौराणिक कथाओं के अनुसार, महिषासुर और मां दुर्गा के बीच 10 दिनों तक भयंकर युद्ध हुआ था. 10वें दिन यानि आश्विन शुक्ल दशमी तिथि को मां दुर्गा ने महिषासुर का वध कर दिया. इसकी खुशी में हर साल इस तिथि को विजयादशमी मनाई जाती है. त्रेतायुग में भगवान राम और रावण के बीच भी 10 दिनों तक भीषण युद्ध हुआ था, 10वें दिन भगवान राम के ​हाथों रावण मारा गया. इस वजह से भी हर साल इस तिथि को विजयादशमी मनाते हैं. दशहरा पर रावण, कुंभकर्ण और मेघनाद के पुतलों का दहन किया जाता है.