सृजन घो’टाले में सीबीआई की बड़ी का’र्रवाई, मधेपुरा से BPSC के रिटायर्ड अधिकारी गि’रफ्तार

मधेपुरा. बिहार के चर्चित सृजन घोटाला मामले में सीबीआई ने मधेपुरा में भी बड़ी कार्रवाई की है. बिहार प्रशानिक सेवा से सेवानिवृत अधिकारी कृष्ण कुमार की विजयादशमी के दिन मधेपुरा से गिरफ्तारी हुई है. बताया जा रहा है कि कल सीबीआई की एक टीम मधेपुरा के तुनियाही में उनके पैतृक घर और और उनके द्वारा संचालित निजी विद्यालय पर छापेमारी की जिसके बाद उन्हें उनके विद्यालय से गिरफ्तार कर लिया है. उनकी चिकित्सीय जांच के बाद उन्हें न्यायालय में पेश किया गया जिसके बाद सीबीआई की टीम उन्हें अपने साथ ले गई.

बिहार प्रशानिक सेवा से सेवानिवृत अधिकारी कृष्ण कुमार की विजयादशमी के दिन मधेपुरा से गिरफ्तारी हुई है.बता दें, राज्य सरकार ने सृजन घोटाला मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए बिहार प्रशासनिक सेवा (बिप्रसे) के पदाधिकारी कृष्ण कुमार को उनके सेवानिवृति के दिन ही 31 जनवरी 2019 को बर्खास्त कर दिया था. इस घोटाले में नाम आने के बाद वह निलंबित चल रहे थे. उन पर आरोप था कि जब वे सहरसा जिले में कोसी योजना के तहत विशेष भू-अर्जन पदाधिकारी के पद पर तैनात थे, तब उन्होंने तमाम मानदंडों को दरकिनार करते हुए सरकारी रुपये को सहरसा जिले से भागलपुर में सृजन महिला विकास सहयोग समिति के एकाउंट में ट्रांसफर कर दिया था. इसके अलावा सरकार के बचत खाते का संचालन नहीं किया और बचत खाते से सूद की राशि को नहीं निकाला.

बताया जाता है कि इसी राशि को सृजन के एकाउंट में ट्रांसफर कर दिया था. जांच में यह बात सामने आने पर जब वह जल संसाधन विभाग में तैनात थे, तब उन्हें निलंबित कर दिया गया. इसके बाद उन पर आरोपपत्र गठित कर विभागीय कार्रवाई शुरू की गयी. जनवरी, 2018 में उनसे स्पष्टीकरण मांगा गया था. इसका जो जवाब उन्होंने दिया, वह स्वीकार करने योग्य नहीं पाया गया था. इसके बाद उन पर लगे आरोपों की जांच विभागीय जांच आयुक्त के स्तर पर शुरू कर दी गयी थी. उन्होंने भी इन पर लगे सभी छह आरोपों को हर तरह से सही पाया था. इसके अलावा सीबीआइ के स्तर से चल रही जांच में भी उन पर लगे सभी आरोप सही पाए गए थे.

बिहार लोक सेवा आयोग के स्तर से भी हुई थी जांच 

इस मामले में जब उनसे फिर से पूछताछ की गयी, तो उन्होंने कुछ भी कहने से मना कर दिया था. इसके बाद विभाग ने उन पर यह कार्रवाई की थी. इस मामले की समीक्षा बिहार लोक सेवा आयोग के अनुशासनिक प्राधिकार के स्तर से फिर से की गयी थी. इसमें भी पूरा मामला सही पाया गया. इन तमाम जांच के मद्देनजर उन्हें सेवा से बर्खास्त किया गया था. कल शाम अचानक उनकी गिरफ्तारी हुई है. मधेपुरा एसपी राजेश कुमार ने इस गिरफ्तारी की पुष्टि की है.

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