विश्व महिला मुक्केबाजी चैंपियनशिप के फाइनल हारने पर भी भारत की मंजू रानी ने बनाया यह रिकॉर्ड

भारत की मंजू रानी को यहां जारी विश्व महिला मुक्केबाजी चैंपियनशिप के फाइनल में रविवार को हार का सामना करना पड़ा। रूस की एकातेरिना पाल्टसेवा ने पहली बार विश्व चैंपियनशिप में भाग ले रही छठी सीड मंजू को 48 किलोग्राम वर्ग के फाइनल में 4-1 से पराजित किया। दूसरी सीड पाल्टसेवा के खिलाफ मिली इस हार के बाद मंजू को रजत पदक से ही संतोष करना पड़ा। पांच जजों ने मेजबान रूस की खिलाड़ी के पक्ष में 29-28, 29-28, 30-27, 30-27, 28-29 से फैसला सुनाया।

18 साल बाद यह पहला मौका है जब किसी भारतीय महिला मुक्केबाज ने अपने पदार्पण विश्व चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल जीता हो। स्ट्रांजा कप की रजत पदक विजेता मंजू से पहले एम सी मैरी कॉम वर्ष 2001 में अपने पदार्पण विश्व चैंपियनशिप के फाइनल में पहुंची थी। मंजू के इस मुकाबले के साथ विश्व चैम्पियनशिप में भारतीय अभियान समाप्त हुआ। भारत ने एक रजत और तीन कांस्य पदक जीते। कांस्य छह बार की विश्व चैम्पियन एमसी मैरीकॉम, जमुना बोरो और लवलीना बोगोर्हेन ने जीता है। ये तीनों शनिवार को अपने सेमीफाइनल मुकाबले हार गई थीं।

Source : live hindustan

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