मुजफ्फरपुर। जिले में सैकड़ों कोरोना संक्रमित गायब हो गए है। दरअसल इनका मोबाइल फोन बंद है और उनका ट्रैकिंग नहीं हो पा रहा है। इससे स्वास्थ्य विभाग इन्हें खोजने में परेशान है।
विभाग को यह भी नहीं पता कि मरीज आइसोलेशन में हैं या बाहर घुम रहे है। इससे विभाग की चिंता बढ़ा दी है। इनको चिन्हित करना विभाग के लिए चुनौती गई है। तीसरी लहर की शुरूआत से लेकर अब तक मिले नए संक्रमितों को मिलाकर यह आंकड़ा है। सदर अस्पताल में बने जिला कंट्रोल रूम से संक्रमितों की ट्रैकिंग की जा रही है।
इसमें पता चला कि 500 मरीजों के मोबाइल नंबर बंद हैं। कई बार फोन लगाने के बाद भी उनसे संपर्क नहीं हो सका। इससे विभाग को यह पता नहीं चल रहा है कि इनमें से कितने ठीक हो चुके हैं अथवा अभी उनकी स्थिति कैसी है।
सीएस डॉ. विनय कुमार शर्मा के अनुसार कई के नंबर भी गलत पाए गए हैं। जिनके नंबर नहीं लग रहे हैं, उनकी सूची संबंधित प्रखंड के चिकित्सा पदाधिकारियों को भेजी जाएगी ताकि उनके घर का पता लगा सके।
जिला कंट्रोल रूम से ट्रैकिंग के दौरान फोन करने पर रोज 10 से 15 नंबर बंद आ रहे हैं। कर्मचारियों ने बताया कि इन नंबरों को दो से तीन बार फोन दोबारा भी किया जाता है, लेकिन वह बंद ही पाया जाता है।
कई मरीज हैं, जिन्होंने गलत नंबर दे दिया है और कोरोना के बारे में पूछने पर वह झल्ला जाते हैं। कुछ ने अपने मोबाइल नंबर का एक अंक ही कम लिखा है। यानी दस की जगह नौ अंक का ही मोबाइल नंबर दे दिया है। इससे भी उन्हें ट्रैकिंग करने में परेशानी हो रही है। इसके अलावा विदेशों से आए लोगों को ट्रैक करने में भी कुछ के नंबर पर बात नहीं हो पा रही है।
फोन करने पर उनके दूसरे रिश्तेदार फोन उठाते हैं। कई रिश्तेदारों को पता भी नहीं होता कि उनके घरवाले विदेश से मुजफ्फरपुर आ रहे हैं। विदेश में रह रहे उनके परिजनों ने टीका लिया है या नहीं, इसकी भी जानकारी घरवालों को नहीं होती।
