सीतामढ़ी। जानकी नवमी पर सीतानगरी सीतामढ़ी मेंं अस्था का जनसैलाब देखते ही बन रहा है। जय जानकी जय सिया राम के उद्घोषों से समूचा वातावरण गुंजायमान है। श्रद्धालुओं मेंं जबरदस्त उत्साह का संचार हुआ है। आज जानकी जन्मोत्सव की हर तरफ धूम है।
जनक दुलारी जानकी सीतामढ़ी धाम में प्रकट हुईं थी। पूजन-अर्चन व भव्य आरती की जा रही है। जानकी जन्मोत्सव पर बधाई व सोहर गीत के साथ भजन-कीर्तन व स्तुति गान से पूरा वातावरण सीता मईया के रंग में रंग गया है। मठ-मंदिरों में पूरी तरह से उत्सव का माहौल बना हुआ है।
माता सीता व प्रभु श्रीराम समेत अन्य देवी-देवताओं का मनमोहक श्रृंगार किया गया है। ठीक 11 बजकर 59 मिनट पर माता जानकी का जन्म हुआ। कोरोना के बाद यह पहला अवसर है जब जानकी जन्मभूमि में माता जानकी की भव्यता के साथ उनका जन्मोत्सव मनाया जा रहा है। धन्य पुनौरा धाम सखी री जन्म लिए जहां जनक दुलारी गाकर श्रद्धालु झूम रहे हैं।

जानकी नगरी में श्रद्धालुओं का रैला देखते ही बन रहा है। माता के जन्म के पल को निहारने की चाह में सीतामढ़ी व्याकुल है। कथा प्रवचन व धार्मिक अनुष्ठानों की गूंज से माहौल भक्ति रस में डूबा हुआ है। मठ- मंदिरों में उत्सव का माहौल है।

अयोध्या, जनकपुरधाम के अलावा देश के विभिन्न तीर्थ स्थलों से साधु-संतों की टोली सीतामढ़ी पहुंच रही है। यहां 10 से 15 हजार बाहरी श्रद्धालुओं के पहुंचने का अनुमान है।
उनके ठहरने के लिए मठ-मंदिरों के पास बने विवाह भवन और धर्मशालाओं में व्यवस्था की गई है। कुछ श्रद्धालु होटलों में भी ठहरे हैं। पुनौराधाम व जानकी स्थान की भव्य सजावट की गई है।
