इंजीनियरिंग कॉलेजों में पढ़ाये जाएंगे पक्षियों की बोली व्यवहार

बिहार : एमआईटी और दूसरे इंजीनियरिंग कॉलेजों में पढ़ने वाले छात्र पक्षियों की बोली और व्यवहार को भी जानेंगे। एआईसीटीई ने इंजीनियरिंग के छात्रों के लिए ऑर्निथालॉजी (पक्षी विज्ञान) का नया कोर्स लॉन्च किया है। एआईसीटीई ने यह कोर्स स्वयं पोर्टल पर शुरू किया है। यह कोर्स 12 हफ्तों का होगा। इसमें इंजीनियरिंग पढ़ने वाले छात्रों को पक्षियों की बोली, व्यवहार और उनकी बनावट के बारे में बताया जाएगा।10 Amazing Facts About Birds | Little Peckers

इस कोर्स में अब तक पूरे देश से 2350 छात्रों ने रजिस्ट्रेशन कराया है। अगले वर्ष 24 जनवरी से यह कोर्स शुरू होगा। एमआईटी के प्राचार्य प्रो. सीबी महतो ने बताया कि एआईसीटीई का जो भी निर्देश होगा उसे लागू किया जाएगा। वहीं, एआईसीटीई का कहना है कि इंजीनियरिंग के छात्रों को सभी चीजों की जानकारी रखनी चाहिए। इसलिए पक्षी विज्ञान के रूप में यह नया कोर्स शुरू किया गया है। यह कोर्स इलेक्टिव विषय के तौर पर रहेगा।

एआईसीटीई ने कहा है कि यह कोर्स इंजीनियरिंग के छात्रों को रोजगार भी दिलाएगा। इस कोर्स को पढ़ने के बाद छात्रों को कृषि, वन जीवन और दूसरे उद्योगों में नौकरी मिल सकती है। इस कोर्स में पहले सप्ताह में पक्षी विज्ञान की आधारभूत जानकारी दी जाएगी। दूसरे सप्ताह में एनाटॉमी और फिजियोलॉजी पढ़ाई जाएगी। तीसरे सप्ताह में पक्षियों के जीवन का इतिहास पढ़ाया जाएगा। चौथे और पांचवें हफ्ते में पक्षियों के व्यवहार के बारे में बताया जायेगा। छठे हफ्ते में पक्षियों के पलायन के बारे में जानकारी दी जाएगी।

सातवें हफ्ते में पक्षियों की जनसंख्या के बारे में पढ़ाया जाएगा। आठवें हफ्ते में मिक्स स्पेशिज की जानकारी मिलेगी। नौवें हफ्ते में डाटा विश्लेषण के बारे में बताया जाएगा। 10वें-11वें हफ्ते में केस स्टडी व 12वें हफ्ते में सीटिजन साइंस ऑफ ऑर्निथालॉजी के बारे में बताया जाएगा।24 जनवरी से शुरू होकर यह कोर्स 15 अप्रैल को खत्म होगा। 23 अप्रैल को कोर्स में शामिल छात्रों की परीक्षा होगी। 31 जनवरी तक छात्र इसमें अपना नामांकन करा सकते हैं। एआईसीटीई ने इसको मल्टी डिसिप्लीनियरी कोर्स की श्रेणी में रखा है। सीबीसीएस के तहत इसकी पढ़ाई होगी। यह कोर्स तीन क्रेडिट का होगा।

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