नरकटियागंज : नगर के मध्य में अवस्थित आदर्श पोखर की सूरत बदल गई है। कभी यहां कचरे का ढेर लगता था, अभी यहां 10 साल का बच्चा और 65 वर्ष का बुर्जुग एक साथ सेहत बना रहा है। अल सुबह सेहत बनाने के लिए यहां बुजुर्ग बच्चे पहुंच रहे हैं। नगर प्रशासन की ओर ओपन जिम की व्यवस्था की गई है। नगर परिषद की ओर से आदर्श पोखर का सौंदर्यीकरण कर पार्क के रुप में विकसित किया गया है।

छोटे बच्चों के मनोरंजन के झूला आदि भी लगाया गया है, जहां शाम में महिलाएं और बच्चे पहुंच रहे हैं। प्रचंड गर्मी के इस मौसम में राहगीरों के लिए भी यह आश्रय स्थल बना हुआ है।वार्ड पार्षद प्रतिनिधि अभिजीत आनंद ने बताया कि नगर का यह स्थल पूर्व से धार्मिक और सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए मशहूर रहा है। वक्त की बेरूखी के कारण यहां गंदगी का अंबार लगा रहता था।
नगर परिषद के सकारात्मक सहयोग से इसका सौंदर्यीकरण 35 लाख की लागत से किया गया। जिसमें पोखर के तट पर पाथवे और सेल्फी प्वाइंट का निर्माण कराया गया।हालांकि राज्यसभा सदस्य सतीश चंद्र दुबे ने इस स्थल की रौनक बढ़ाने में सराहनीय योगदान दिया है। करीब दस लाख की लागत से ओपन जिम की स्थापना राज्यसभा सदस्य की ओर से कराई गई।ओपन जिम की स्थापना होने से यहां दस वर्ष का बच्चा और 65 वर्ष का बुजुर्ग प्रतिदिन सुबह में पहुंचते हैं और कसरत करते हैं।
बच्चों के लिए आकर्षण का केंद्र सेल्फी प्वाइंट
पोखर परिसर में नगर परिषद की ओर से लव यू नरकटियागंज का सेल्फी प्वाइंट बनाया गया है। बच्चों एवं महिलाओं के लिए यह सेल्फी प्वाइंट आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।आठवीं कक्षा का छात्र संजीत कुमार ने बताया कि पोखर पर ओपन जिम बनने से सुबह में कसरत करने में काफी सुविधा मिल रही है।सेना भर्ती की तैयारी कर रहे राकेश कुमार ने बताया कि सुबह में दौड़ के बाद सेना भर्ती की तैयारी कर रहे युवाओं की भीड़ प्रतिदिन ओपन जिम में जुटती है।युवाओं ने ओपन जिम की स्थापना करने के लिए राज्यसभा सदस्य सतीश चंद्र दुबे और पोखर के सौंदर्यीकरण में नगर परिषद के जनप्रतिनिधियों के योगदान की सराहना की है।
कसरत के बाद ठहाकों से गूंजता परिसर
समाजसेवी उपेंद्र वर्मा ने बताया कि विकास को लेकर पहले आदर्श पोखर के तट का निर्माण कराया गया। पौधे लगाए गए , जो अभी पेड़ बन रहे हैं।लाइटिंग की व्यवस्था की गई है। प्रतिदिन पोखर परिसर में टहलने के लिए पहुंचते समाजसेवी कवलजीत सिंह ने बताया कि पोखर के तट पर पेवर ब्लाक लगाने से बुजुर्गों को टहलने में सुविधाा मिलती है। समाजसेवी अवधेश शरण ने बताया कि एक स्थान पर शहर के सैकड़ों बुर्जुग एकत्रित होते हैं। टहलने और कसरत करने के बाद जमकर ठहाके लगाते हैं।
