#BODHGAYA देश का बतौर प्रतिष्ठित पर्यटक स्थल होगा विकसित: मुख्यमंत्री

#BIHAR #INDIA : बोधगया देश का बतौर प्रतिष्ठित पर्यटक स्थल विकसित होगा। इसके साथ ही बोधगया, राजगीर और वैशाली आपस में बौद्ध सर्किट बनेंगे। सरकार इन्हें जोड़ने पर तेजी से काम कर रही है। ये बाते मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को कही। उन्होने बोधगया को प्रतिष्ठित पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करने की कार्ययोजना का प्रस्तुतीकरण देखा और पदाधिकारियों को कई अहम दिशा-निर्देश दिए। केंद्र सरकार ने देश के 16 पर्यटक स्थलों को प्रतिष्ठित पर्यटक स्थल बनाने का निर्णय लिया है। इसमें बोधगया भी शामिल है।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा है कि बोधगया, राजगीर और वैशाली को आपस में जोड़ने पर पहले से तेजी से काम हो रहा है। बोधगया भगवान बुद्ध की ज्ञानप्राप्ति का स्थल है तो राजगीर में कई वर्षों तक रहकर उन्होंने उपदेश दिया था। वैशाली भी भगवान बुद्ध से जुड़ा हुआ एक महत्वपूर्ण स्थल है। हमलोग बोधगया, राजगीर और वैशाली को आपस में जोड़ने के लिए काम कर रहे हैं। हमलोग पहले से ही बोधगया को बेहतर बनाने में लगे हैं। इसके लिए कई काम किए गए हैं। मंदिर को सुरक्षित बनाये रखने के लिए चहारदीवारी को ठीक किया गया और मंदिर परिसर की अनावश्यक चीजों को हटाया गया है। बाहर से आने वाले बौद्ध भिक्षुओं एवं पर्यटकों के वहां पहुंचने एवं उन्हें हर सुविधा देने के लिये काम कर रहे हैं। बोधगया में आने वाले पर्यटकों की संख्या बढ़ी है। यहां महाबोधि सांस्कृतिक केन्द्र बनाया जा रहा है। यहां दो हजार क्षमता का ऑडिटोरियम होगा। उच्च स्तर का अतिथि गृह भी बनाया जा रहा है।


प्रस्तुतीकरण में बताया गया कि केन्द्र सरकार ने देश में कुल 16 स्थानों को प्रतिष्ठित पर्यटक स्थल के रूप में विकसित करने का निर्णय लिया है, जिसमें बोधगया भी शामिल है। बोधगया के और विकास की योजना, वहां ठहरने के इंतजाम विश्व स्तरीय करने आदि पर पर आगे काम होने हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस योजना को बेहतर ढ़ंग से क्रियान्वित करने के लिये स्थल का निरीक्षण आवश्यक है। इससे आइडिया समझने में और सहुलियत होगी। स्थल पर जाकर प्रोजेक्ट बनाना बेहतर होगा। कहा कि इस ढ़ंग से काम करें कि उसका बेहतर परिणाम दिखे। शीघ्र स्थल निरीक्षण के लिये एक तिथि तय हो। मुख्यमंत्री ने कहा कि बोधगया को अगर कहीं प्रदर्शित करना है तो उसके लिये महाबोधि मंदिर के अंदर की बुद्ध की मूर्ति या बोधिवृक्ष से बेहतर कुछ नहीं हो सकता है।